Saturday, February 12, 2011

तू खयालों में राह करती है

तू खयालों में राह करती है ,
मेर दिल को तबाह करती है ।
दिल तेरी आग में धधकता है ,
पर तू खुशियों की आहें भरती है ।
जब भी जलता है कोई परवाना
शम्मा बस वाह-वाह करती है ।
ये मोहब्बत की दास्ताँ कैसी
जो दिल ओ जान पे गुजरती है ।

4 comments:

  1. aapne to nikah film ke gane ke bol hi palat diye-jisme kaha gaya hai-
    "ek parvana jala kis kadar shor macha shmma chup chap jali lab pe shikwa n gila.
    sarahniy kavita..

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  2. dhanywaad! shikhaji,aapka comment achchha laga .

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  3. बेहद भावपूर्ण

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